रिपोर्ट by – सन्दीप मिश्रा
धूमधाम से मनाई गया नेता सुभाष चन्द्र बोस जन्मदिन
नेता जी के विचार विश्वव्यापी थे उनका स्पष्ट मानना था कि जो जाति उन्नति करना नहीं चाहती उसे जीवित रहने का कोई अधिकार नहीं है। साथियों आज के दिन हमे प्रण लेना चाहिये कि नेता जी के आदर्शों पर चलें। यह बात कमला फाउंडेशन की अध्यक्ष पूनम सिंह ने कही। धुन्नी सिंह नगर में अपने कार्यालय पर आयोजित कार्यक्रम में उन्होंने नेताजी सुभाष चन्द्र बोस प्रतिमा पर माल्यर्पण करके नमन किया। इस मौके पर मोहम्मद अनवर जमाल खान, पूर्व सभासद साबिस्ता बृजेश, सभासद बबलू सभासद एसपी सिंह, सभासद बबलू जोशी, हारून भाई, ब्रजेश श्रीवास्तव, पत्रकार संदीप मिश्रा, रवि सालोमन, मोहम्मद हसन, आमीन पठान, अरविंद पाठक, खुर्शीद, मोनू कुरेशी, आसाराम , राघवेन्द्र, अरविंद केवट, दानिश, जॉन, सुमित सिंह, कुलदीप सहित अनेक लोगों ने नेताजी को श्रद्धांजलि अप्रित की।
पूनम सिंह ने बताया कि तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हें आजादी दूंगा का नारा नेता जी ने देकर अंग्रेजों से लड़ने के लिए जापान की मदद से सिंगापुर में आजाद हिंद फौज की स्थापना की। इस फौज में ब्रिटिश आर्मी की तरफ भाग लेने वाले भारतीय कैदी शामिल थे। जिन्हें जापान ने युद्ध बंदी के तौर पर कैद कर रखा था। जापान की मदद से सुभाष चंद्र बोस ने 1943 में आर्मी तैयार की।
यह फौज इतनी जोशीली व शक्तिशाली थे कि इसने बर्मा के रास्ते भारत की सीमा में प्रवेश कर लिया था और ब्रिटिश आर्मी को पीछे धकेल दिया था। लेक़िन 18 अगस्त 1945 को ताइवान में एक विमान हादसे में नेताजी की मौत हो गई। आजाद हिंद फौज की वजह से अंग्रेज समझ गए थे कि अब हिदुस्तान को ज्यादा दिन तक गुलाम नही रखा जा सकता। इसलिये वे यहां से भाग गए।